20बिहार में फिर निकला 30 साल पुराना जिन्न, लालू यादव से वसूल होगी चारा घोटाले की रकम, कितनी होगी देनदारी?Written by:Shankar PanditAgency:News18IndiaLast Updated:March 28, 2025, 10:29 ISTLalu Prasad Yadav: बिहार में चुनाव से ठीक पहले चारा घोटाला फिर चर्चा में है. बिहार सरकार लालू यादव से 950 करोड़ रुपये की वापसी के लिए अदालत जाने की तैयारी कर रही है. लालू यादव पांच मामले में दोषी ठहराए…और पढ़ेंFollow us on Google NewsAdvertisementबिहार में फिर निकला 30 साल पुराना जिन्न, लालू से वसूल होगी रकम, कितनी देनदारी?बिहार सरकार चारा घोटाले के 950 करोड़ की वापसी के लिए अदालत जाएगीहाइलाइट्सबिहार सरकार 950 करोड़ की वापसी के लिए अदालत जाएगी.लालू यादव चारा घोटाले के पांच मामलों में दोषी हैं.चारा घोटाला 30 साल पुराना और 950 करोड़ का मामला है.बिहार में इस साल विधानसभा चुनाव है. 30 साल पुराना सियासी जिन्न भी लौट आया है. नाम है चारा घोटाला. जी हां, चाारा घोटाले की आंच पर राजनीति की रोटी सेकने की पटकथा फिर लिखी जा रही है. बिहार में एनडीए की सरकार चारा घोटाले का पैसा सरकारी खजाने में लालू यादव से वापस चाहती है. इसकी कवायद शुरू हो गई है. बिहार सरकार चारा घोटाले के 950 करोड़ रुपए की वापसी के लिए अदालत जाने वाली है. बिहार सरकार इसके लिए सीबीआई और इनकम टैक्स डिपार्टमेंट से राय-मशविरा करने में लगी है.दरअसल, लालू प्रसाद यादव चारा घोटाला के पांच मामलों में सजायाफ्ता हैं. लालू प्रसाद यादव के अलावा अन्य नेता और अधिकारी भी चारा घोटाले की जद में हैं. अगर पैसों की बात करें तो चारा घोटाले की रकम करीब 950 करोड़ का है और यह मामला काफी दिलचस्प है. इसमें कई केस हैं. चारा घोटाला के पांच अलग-अलग मामलों में कितना गबन हुआ और लालू यादव पर कितनी देनदारी है, इसकी पूरी डिटेल इस खबर में जानते हैं. सबसे पहले जानते हैं कि बिहार सरकार क्या करने जा रही.कैसे निकला चारा घोटाले का जिन्नदरअसल, चारा घोटाला का मामला 30 साल पुराना है. यह 950 करोड़ का मामला है. बिहार सरकार चारा घोटाले के 950 करोड़ रुपए की वापसी के लिए अदालत का दरवाजा खटखटाएगी. जानकारी के मुताबिक, तब चारा घोटाले की पटना हाईकोर्ट ने सीबीआई को जांच सौपते समय गबन किये गए पैसे को सरकार के खजाने वापस लौटाने की भी जिम्मेदारी दी थी. 1996 के चारा घोटाला मामले में अब तक एक पैसा भी वापस नहीं हुआ है. हाईकोर्ट के आदेश पर सीबीआई को चारा घोटाले की जांच मार्च 1996 में सौंपी गई थी. हालांकि पैसा सरकार के खजाने में वापस कैसे आएगा, ये बहुत टेढ़ा काम है. लेकिन सरकार इसके लिए प्रयास करेगी. यह पैसा गबन करने वाले अधिकारियों, राजनेताओं और बिचौलियों के संपति को बेचकर लौटना था. ऐसे में अब भाजपा और जदयू की अगुवाई वाली सरकार इस पैसे की वापसी के लिए पहल करेगी.अब जानते हैं कि चारा घोटाला क्या है, कितने मामलों में गबन हुआ और क्या राशि है?चारा घोटाला बिहार का सबसे बड़ा भ्रष्टाचार वाला कांड है. इसमें पशुपालन विभाग के नाम पर सरकारी खजाने से फर्जी बिलों के जरिए करीब 950 करोड़ रुपये की हेराफेरी की गई. इसे ही चारा घोटाला नाम दिया गया. यह घोटाला 1996 में तब सामने आया, जब चाईबासा के उपायुक्त अमित खरे ने पशुपालन विभाग के दफ्तरों पर छापा मारा और फर्जी दस्तावेजों का खुलासा किया. इसमें नकली पशुओं और चारा आपूर्ति के बहाने कोषागार यानी सरकारी खजाने से पैसे निकाले गए. मुख्य आरोपी लालू प्रसाद यादव (जो उस समय बिहार के मुख्यमंत्री थे) सहित कई नेता, अधिकारी और आपूर्तिकर्ता शामिल थे. कई बरी हुए और कई दोषी पाए गए.किस मामले में कितना गबनचारा घोटाला मामले में सीबीआई ने कुल 66 मामले दर्ज किए. इनमें से 53 झारखंड और बाकी बिहार में ट्रांसफर हुए. चारा घोटाले के कुल 5 मामले हैं. पांच मामलों में लालू यादव को दोषी ठहराया गया है और उन्हें सजा मिली है. छठे मामले में अब भी सुनवाई हो रही है. यह ऐसा मामला है, जिसके चलते लालू की कुर्सी चली गई थी. उनके सीएम रहते ही यह घोटाला हुआ था.चाईबासा कोषागार केस: 37.70 करोड़ रुपये का गबन और लालू यादव को 5 साल की सजा.देवघर कोषागार केस: 89.27 लाख रुपये का गबन और लालू यादव को 3.5 साल की सजा. फाइन- 10 लाख.चाईबासा दूसरा केस: 33.13 करोड़ रुपए का गबन और लालू यादव को 5 साल की सजा.दुमका कोषागार केस: 3.13 करोड़ रुपये का गबन और लालू यादव को 14 साल की सजा (7+7 साल). फाइन- 60 लाख.डोरंडा कोषागार केस: 139.35 करोड़ रुपये का गबन और लालू यादव को 5 साल सजा. फाइन- 60 लाख.रांची कोषागार (छठा मामला): 1.84 करोड़ रुपये का गबन. अभी सुनवाई जारी है.लालू यादव पर कितनी देनदारी?अगर इन सभी मामलों के गबन को जोड़ दिया जाए तो लालू यादव की देनदारी करीब 304 करोड़ रुपए होगी. इसका मतलब है कि अगर बिहार सरकार कोर्ट में अपना दावा मजबूती से रखती है और कोर्ट पैसा जमा करने का आदेश देता है तो लालू यादव को इतने पैसे सरकारी खजाने में देने होंगे. यहां बताना जरूरी है कि अन्य लोग भी इस घोटाले में शामिल रहे हैं. ऐसे में उनसे भी बाकी पैसों की वसूली हो सकती है. लालू यादव चारा घोटाला मामले में करीब 7 बार जेल जा चुके हैं. पहली बार वह साल 2013 में जेल गए थे. वह तीन साल से अधिक समय तक जेल में रह चुके हैं. अभी वह बीमारी का हवाला देकर जमानत पर बाहर हैं.